गाजीपुर। फिलहाल गंगा तटवर्तियों को राहत की सांस लेने का मौका तो दी हैं लेकिन कुछ ही दिन में कहर बरपाने का भी संकेत दे रही हैं।

केंद्रीय जल आयोग की गाजीपुर यूनिट के मुताबिक बुधवार की सुबह से जलस्तर में घटाव शुरू हुआ। घटाव की रफ्तार शाम चार बजे प्रतिघंटा एक सेंटीमीटर थी जबकि जलस्तर 61.310 दस मीटर दर्ज हुआ। उधर बाढ़ (सिंचाई) विभाग के एक्सईएन आरके चौधरी ने बताया कि ऊपर वाराणसी तथा प्रयागराज में गंगा में घटाव कुछ तेज है लेकिन राहत की यह स्थिति चंद दिनों की है। चंबल करीब 20 लाख क्यूसेक अतिरिक्त पानी लेकर आगे बढ़ रही है और वह पानी यमुना के रास्ते गंगा में आएगा। तब स्थिति और भयावह होगी। चंबल का पानी गंगा में गाजीपुर तक आने में 12 अगस्त तक का वक्त लग सकता है और तब तटवर्ती इलाकों में हालात बेहद चिंताजनक होंगे। दरअसल गंगा का पेटा पहले से भरा मिलेगा और चंबल का आया वह पानी गंगा के तटों पर तेजी से चढ़ने के साथ पसरेगा। एक सवाल पर इं.चौधरी ने कहा कि गनीमत तभी होगी जब गंगा का मौजूदा पानी तेजी से नीचे खिसके। हालांकि घटने की रफ्तार अपेक्षाकृत कम है।

तब गंगा के तटवर्ती इलाकों की खेती बारी को व्यापक नुकसान भी तय है। फिर कटान का भी खतरा होगा। फिर सहयोगी नदियां भी उफनेंगी।

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